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पाइनएप्पल (अनानास )
इंटरनेशनल पाइनएप्पल डे हर साल 27 जून को सेलिब्रेट किया जाता हैं। दिखने में सुन्दर चमकदार पीला रसीला फल अनानास दुनिया के हर जगह पर विविध डिशेस में यूज़ किया जाता है ,या फिर स्लाइस या जूस ही सही ! मुँह में पानी इस खट्टे मीठे फल से आता ही हैं। तो इस मौके पर जानिए इस फल के स्वास्थ्य के लिए उपयोग फायदे और कोनसे गुणधर्म इस फल में हैं।

अनानस के विविध भाषाओ में नाम
मराठी -अननस
बंगाली -अनारस
इंग्लिश -पाइनएप्पल
संस्कृत -बहुनेत्रा
तेलगु -अनस पाण्डु
लैटिन अनानास कॉमोसस
आयुर्वेद में वर्णित
बहुनेत्र नाम से अनानास का वर्णन राजनिघण्टु में है।
पका हुआ फल वात और पित्त शामक है।
रस – मधुर ,खट्टा
गुण गुरु याने पचने के लिए हेवी है।
बहुनेत्र फलं च अम्लम कृमिघ्नं मधुरं सरं।
बल्यं वातहरमं रूच्यं श्लेष्मलं तर्पणं गुरु।।
आयुर्वेद में इस वनस्पति का औषधी उपयोग पाचन के लिए ,भूख बढ़ाने के लिए ,अनार्तव के लिए किडनी स्टोन ,जॉइंट पैन आदि में किया जाता है।
अनानास के उपयोग
कृमिघ्न –
अनानास सेवन से वर्म्स ( कृमि) नष्ट हो जाते है।
पाचक
अनानास के सेवन से पाचनशक्ति बढ़ती हैं याने डायजेशन ठीक से होता है ,भूख बढ़ती हैं।
रक्तवर्धक –
अनानास पाचक होने से रस और रक्त की निर्मिति भी ठीक होने लगती है ,जिन्हे खून की कमी है वो सही मात्रा में इस फल का सेवन करें।
स्कीन और बालों की हेल्थ के लिए
विटामिन C और A होने से कोलेजन मेन्टेन होता है ये प्रोटीन है जो शरीर में बड़ी मात्रा में होता है।
कफ और सर्दी के लिए
इम्युनिटी के लिए ये बढ़िया फल है ,एंटीऑक्सीडेंट्स से भरपूर है तो जो सर्दी कफ को जल्दी कैच करते है इस फल का सेवन करें।
हार्ट और ब्रेन के लिए
इस फल में पोटैसियम है जो ब्लड फ्लो को मेन्टेन रखता है,जिससे ह्रदय की गति भी योग्य रहती है और एंटीओक्सीडेंट्स भी है जो न्यूरल एक्टिविटी के लिए जरुरी है। याने अनानास से दिल और दिमाग दोनों को फायदा होता है।
पाइनएप्पल की रेसिपीज़
पाइनएप्पल केक
पाइनएप्पल पेस्ट्री
पाइनएप्पल मुरब्बा
पाइनएप्पल चटनी
पाइनएप्पल बर्फी
पाइनएप्पल हलवा /केसरी
पाइनएप्पल करी /रसम
पाइनएप्पल गोज्जु